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चेक गणराज्य सरकारी बजट

शेयर मूल्य

0.9 % of GDP
परिवर्तन +/-
-0.6 % of GDP
प्रतिशत में परिवर्तन
-50.00 %

चेक गणराज्य में वर्तमान सरकारी बजट का मूल्य 0.9 % of GDP है। चेक गणराज्य में सरकारी बजट 1/1/2018 को 0.9 % of GDP तक घट गया, जो 1/1/2017 को 1.5 % of GDP था। 1/1/1995 से 1/1/2023 तक, चेक गणराज्य में औसत GDP -3.22 % of GDP थी। सर्वकालिक उच्चतम स्तर 1/1/2017 को 1.5 % of GDP पर पहुँचा, जबकि सबसे कम मूल्य 1/1/1995 को -12.4 % of GDP दर्ज किया गया।

स्रोत: Czech Statistical Office

सरकारी बजट

  • ३ वर्ष

  • 5 वर्ष

  • मैक्स

राजकोष

सरकारी बजट इतिहास

तारीखमूल्य
1/1/20180.9 % of GDP
1/1/20171.5 % of GDP
1/1/20160.7 % of GDP
1

सरकारी बजट के समान मैक्रो संकेतक

नामवर्तमानपिछला फ्रीक्वेंसी
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भ्रष्टाचार रैंक
41 41 वार्षिक
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भ्रष्टाचार सूचकांक
57 Points56 Pointsवार्षिक
🇨🇿
राजकीय व्यय
270.14 अरब CZK268.48 अरब CZKतिमाही
🇨🇿
राजकोष का मूल्य
-192.3 अरब CZK-178.6 अरब CZKमासिक
🇨🇿
राजकोषीय ऋण
3.228 जैव. CZK2.998 जैव. CZKवार्षिक
🇨🇿
राजकोषीय ऋण से सकल घरेलू उत्पाद
44 % of GDP44.2 % of GDPवार्षिक
🇨🇿
राजकोषीय व्यय
931.506 अरब CZK744.974 अरब CZKमासिक
🇨🇿
राजस्व
1.445 जैव. CZK1.27 जैव. CZKमासिक
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राज्य व्यय से सकल घरेलू उत्पाद
45.4 % of GDP44.6 % of GDPवार्षिक
🇨🇿
शरणार्थी आवेदन
115 persons75 personsमासिक
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सैन्य व्यय
5.056 अरब USD4.005 अरब USDवार्षिक

सरकारी बजट सरकार द्वारा प्राप्त किए गए भुगतानों (कर और अन्य शुल्क) और सरकार द्वारा किए गए भुगतानों (खरीद और हस्तांतरण भुगतान) का आय-व्यय विवरण है। बजट घाटा तब होता है जब सरकार अपनी आय से अधिक खर्च करती है। बजट घाटे के विपरीत स्थिति को बजट अधिशेष कहा जाता है।

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सरकारी बजट क्या है?

वर्तमान आर्थिक परिदृश्य में, सरकार की बजट नीति और उसकी संदर्भित जानकारी को समझना अत्यंत महत्वपूर्ण हो गया है। सरकारी बजट एक ऐसा उपकरण है जिसके माध्यम से सरकार अपने खर्च और राजस्व को नियंत्रित करती है। इस लेख में, हम सरकार के बजट के विभिन्न पहलुओं, इसके महत्व, प्रकार और इसके निर्माण की प्रक्रिया पर प्रकाश डालेंगे। सरकार का बजट किसी भी अर्थव्यवस्था के वित्तीय स्वास्थ्य का एक प्रमुख संकेतक होता है। यह सरकार द्वारा अनुमानित राजस्व और व्यय का एक दस्तावेज होता है, जो एक आगामी वित्तीय वर्ष के लिए योजना तैयार करता है। यह न केवल रोशनी डालता है कि सरकार अपने संसाधनों को कैसे उपयोग करने का योजना बना रही है, बल्कि यह भी स्पष्ट करता है कि वो किन क्षेत्रों में खर्च करेगी और किन माध्यमों से राजस्व एकत्र करेगी। बजट का पहला और सबसे महत्वपूर्ण उद्देश्य होता है आर्थिक स्थिरता प्राप्त करना। सरकार अपने बजट के माध्यम से आर्थिक विकास को प्रोत्साहित करने, मुद्रास्फीति को नियंत्रित करने, और बेरोजगारी को कम करने का प्रयास करती है। बजट निर्माण की प्रक्रिया में, योजना आयोग और वित्त मंत्रालय दोनों शामिल होते हैं, जो देश की वित्तीय स्थिति का विस्तृत विश्लेषण करते हैं और विभिन्न सूत्रों से राजस्व और व्यय का अनुमान लगाते हैं। सरकारी बजट दो प्रमुख भागों में बंटी होती है: राजस्व बजट और पूंजी बजट। राजस्व बजट में सरकार के नियमित खर्च और उसके सामान्य स्रोतों से प्राप्त होने वाले राजस्व को शामिल किया जाता है। इसमें कर राजस्व जैसे आयकर, उत्पाद शुल्क, सेवा कर शामिल होते हैं, और गैर-कर राजस्व जैसे लाभांश, ब्याज और अन्य सरकारी सेवाओं से प्राप्त होने वाले शुल्क शामिल होते हैं। दूसरी ओर, पूंजी बजट उस भाग को संदर्भित करता है जो विकासात्मक और शैक्षिक परियोजनाओं के लिए निर्धारित है। इसमें पब्लिक सेक्टर यूनिट्स में निवेश, सार्वजनिक इंफ्रास्ट्रक्चर की स्थापना और अन्य दीर्घकालिक परियोजनाएँ शामिल होती हैं। पूंजी बजट में मुख्यतः उधार और इक्विटी स्रोत होते हैं जिनके माध्यम से सरकार विकासात्मक कार्यों के लिए वित्तीय सहायता जुटाती है। सरकारी बजट प्रक्रिया की शुरुआत आमतौर पर वर्तमान वित्तीय वर्ष के बीच से होती है, जब मंत्रालय और विभाग अपने आगामी वर्ष के लिए वित्तीय आवश्यकताओं का अनुमान लगाना शुरू करते हैं। यह सभी आंकड़े वित्त मंत्रालय को दिए जाते हैं, जो कि फिर इनका विश्लेषण करके एक संघटित बजट दस्तावेज तैयार करते हैं। इसके बाद, बजट दस्तावेज को संसद में पेश किया जाता है, जहां इसका विवेचन और अनुमोदन होता है। अनुचित व्यापारिक गतिविधियों या खर्च पर नियंत्रण और अनुशासन बनाए रखना भी इस प्रक्रिया का एक अभिन्न हिस्सा होता है। सरकारी बजट का विभिन्न क्षेत्रों पर व्यापक प्रभाव होता है। यह सरकारी परियोजनाओं और कल्याणकारी योजनाओं के वित्तपोषण का प्रमुख स्रोत होता है। इसके माध्यम से देश की सामाजिक और आर्थिक विकास की दिशा निर्धारित होती है। बजट का महत्वपूर्ण भाग शिक्षा, स्वास्थ्य, रक्षा, और इंफ्रास्ट्रक्चर के क्षेत्र में निवेश के लिए निर्धारित होता है, जिससे आर्थिक विकास और सामाजिक विकास दोनों को प्रोत्साहन मिलता है। सरकार का बजट सामाजिक न्याय और आर्थिक वितरण की दृष्टि से भी महत्वपूर्ण है। इसमें विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं के लिए धन का आवंटन किया जाता है, जिससे समाज के कमजोर तबकों को सहायता मिलती है। ये योजनाएँ जैसे कि वृद्धावस्था पेंशन, छात्रवृत्ति योजनाएँ, और बेरोजगारी भत्ता, समाज में समता और सामाजिक न्याय को बढ़ावा देती हैं। बजट की पारदर्शिता और जवाबदेही की महत्वता भी कम नहीं है। एक पारदर्शी बजट नागरिकों को इस बात की जानकारी देता है कि उनके कर का पैसा कहां और कैसे खर्च किया जा रहा है। इसमें जवाबदेही के तत्व भी शामिल होते हैं, क्योंकि अगर कोई सरकारी विभाग या एजेंसी बजटीय आवंटनों का अनुचित उपयोग करती है, तो उन्हें इसके लिए जिम्मेदार ठहराया जा सकता है। अंत में, यह समझना आवश्यक है कि सरकारी बजट एक जटिल लेकिन महत्वपूर्ण दस्तावेज है, जो देश की वित्तीय नीति और आर्थिक योजनाओं का प्रतीक है। यह न केवल आर्थिक स्थिरता में सहायक होता है, बल्कि यह सामाजिक विकास और सुरक्षा को भी बढ़ावा देता है। इसलिए, यह नागरिकों के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है कि वे सरकार के बजट को समझें और इसकी पारदर्शिता और जवाबदेही की मांग करें। Eulerpool वेबसाइट पर, हम सरकार बजट से संबंधित महत्वपूर्ण और सटीक मैक्रोइकॉनॉमिक डेटा प्रदान करते हैं। हमारा उद्देश्य हमारे उपयोगकर्ताओं को नवीनतम बजट आंकड़ों और नीतिगत परिवर्तनों की व्यापक जानकारी प्रदान करना है, जिससे वे इसके बारे में सूचित निर्णय ले सकें। हम इस दिशा में काम करते रहते हैं कि आपका अनुभव और ज्ञान और भी समृद्ध हो और आप सार्वजनिक वित्त से जुड़े प्रत्येक पहलु को भलीभांति समझ सकें।